कोरबा = कोरबा जिला के पाली ब्लाक के अंतर्गत आने वाले ग्राम पंचायत कर्रा नवापारा में भ्रष्टाचार चरम पर है कर्रा नवापारा पंचायत के सरपंच पूर्णा सिंह तंवर एवम सरपंच पति डीगेश्वर और पंचायत सचिव बिसोक सिदार के द्वारा मिलकर कर्रा पंचायत में लगातार भ्रष्टाचार किया जा रहा है। व शासकीय राशि का दुरुपयोग किया जा रहा है जिसमे सरपंच पूर्णा सिंह तवर और सरपंच पति मिलकर शासकीय राशि को बगैर ग्राम सभा के प्रस्ताव के राशि आहरण कर निजी उपयोग किया जा रहा है एवम मकान बनाया जा रहा है नए नए ट्रेक्टर लिया जा रहा इस पांच साल में सरपंच एवं सरपंच पति के पास आय से अधिक संपत्ति कहा से आया ये भी एक जांच का विषय है। सूत्रों के अनुसार सरपंच बनने से पहले उसकी दैनिक स्थिति बहुत खराब थी।अब इस पांच साल में इतनी संपत्ति कहा से आई।।साथ ही ग्राम पंचायत कर्रा नवापारा के सरपंच पूर्णा सिंह तंवर के द्वारा पंचायती राज अधिनियम का खुला उल्लघन किया जा रहा है और पंचायत का सारा कार्यभार उसके पति दिगेश्वर तंवर के द्वारा किया जा रहा है जिसकी शिकायत तत्कालीन ग्राम सभा अध्यक्ष अशोक कुमार उइके के द्वारा अनेकों बार शिकायत किया गया था पर कोई जांच नही होने और कोई कार्यवाही नहीं होने के कारण खुलकर भ्रष्टाचार किया जा रहा है और तत्कालीन ग्राम सभा अध्यक्ष को बगैर ग्राम सभा के प्रस्ताव के पंचायत के घोटाला को उजागर ना कर दे करके षड्यंत्र पूर्वक उसे हटा दिया गया और घोटाले में घोटाला करते गए और कर्रा नवापारा पंचायत के विकास कार्य के लिय आए राशि को निकालकर दुरुपयोग किया जा रहा है पंचायत में करोड़ों का घोटाला किया गया है जिसकी शिकायत ग्रामीणों ने मिलकर कोरबा कलेक्टर।और जिला सीईओ कोरबा को किया गया था पर कोई कार्यवाही नहीं होने पर तत्काली संभाग आयुक्त बिलासपुर को किया गया था। जिसमे कार्यवाही के लिय जिला कोरबा कलेक्टर कोरबा को आदेश दिया गया था पर आदेश मिलने के बाद भी कोई कार्यवाही नहीं होने पर पंचायत की भ्रष्टाचार की शिकायत रायपुर मंत्रालय पंचायत एवम् ग्रामीण विभाग छत्तीसगढ़ शासन रायपुर सचिव के पास शिकायत गई है अब देखना ये है की इतने बड़े मामले में कोरबा कलेक्टर क्या कार्यवाही करते है साथ ही सरपंच के द्वारा अपने वाह वाही लूटने के लिए न्यूज पोर्टल में खबर भी छपवाया है जिसमे 7 करोड़ 95 लाख की काम गिनाई गई है पर जमीनी स्तर को कोई कार्य पूर्ण नही है और जो कार्य हुआ है वो गुणवत्ता हीन है क्या इतने बड़े मामले में शासन प्रशासन कोई कार्यवाही पर पाएगा।